व्यर्थ सुझाव पंचतंत्र की कहानी | vyarth sujhav Panchtantra ki kahani in Hindi
एक बार की बात है। एक बंदरों का झुंड सर्दियों के मौसम में बारिश में फस गया था। वे सभी ठंड में ठीठुर रहे थे। कि तभी अचानक एक बंदर को एक खूबसूरत जुगनू दिखा।
उस जुगनू के चमचमाते रंगों की वजह से बंदर को वह आग की चिंगारी जैसी दिखी। आग जलाने के लिए सभी बंदर उस जुगनू में फूंक मारने लगे।
पास के पेड़ पर एक डाली पर बैठी चिड़िया उनके इस निरर्थक प्रयास को देख रही थी। वह चिल्ला कर बोली, “तुम सब जुगनूओ से आग जलाने की व्यर्थ कोशिश कर रहे हो। तुम सभी को किसी गुफा में छुप जाना चाहिए।”
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बंदरों ने चिड़िया की बात को अनसुना कर दिया, और बोले, “हमें परेशान मत करो, भागो यहां से!”
बंदरों के मना करने के बावजूद चिड़िया उड़ कर उनके पास आ गई और उन्हें गुफा में जाने के लिए सलाह देने लगी।
एक बंदर को उस पर गुस्सा आ गया और उसने चिड़िया को पकड़कर जोर से जमीन पर पटक दीया। वह चिड़िया बुरी तरह घायल हो गई।
नैतिक शिक्षा :– मूर्ख को सलाह देना मूर्खता है।
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