- Dr. A.P.J. Abdul Kalam Biography in Hindi
- शुरुआती जीवन (abdul kalam jivan parichay)
- अब्दुल कलाम का परिवार (abdul kalam family)
- अब्दुल कलाम की शिक्षा (abdul kalam education)
- कलाम के शब्दों में-
- एयरोस्पेस वैज्ञानिक बने अब्दुल कलाम (abdul kalam career)
- इसरो पहुंचे अब्दुल कलाम (abdul kalam isro)
- नासा की सैर पर अब्दुल कलाम (abdul kalam nasa)
- सफल वैज्ञानिक के रूप में अब्दुल कलाम (abdul kalam scientist)
- मिसाइल मैन अब्दुल कलाम (abdul kalam missile man)
- भारत के 11वें राष्ट्रपति बने अब्दुल कलाम Abdul kalam president)
- कलाम कहते थे– (abdul kalam thoughts)
अब्दुल कलाम का निधन (abdul kalam death)- अब्दुल कलाम का निजी जीवन (abdul kalam life history)
- अब्दुल कलाम के खिताब (abdul kalam awards)
अगर तुम सूरज की तरह चमकना चाहते हो,
तो पहले सूरज की तरह जलना सीखो।
ये शब्द हैं भारत के पर्व राष्ट्रपति और मशहूर वैज्ञानिक डा. ए.पी.जे अब्दुल कलाम के। मिसाइल मैन के नाम से समूचे विश्व में प्रख्यात अब्दुल कलाम की जिंदादिल शख्सियत इस दुनिया से अलविदा कहने के बाद भी हर एक हिन्दुस्तानी के जहन में कैद है। रामेश्वरम की गलिंयों में अखबार बेचने से लेकर कामयाब वैज्ञानिक और फिर भारत के 11वें राष्ट्रपति बनने तक का मिसाइल मैन का ये सफर हर किसी के लिए आज मिसाल बन गया है। (abdul kalam biography in Hindi)
Dr. A.P.J. Abdul Kalam Biography in Hindi
भारत के 11 वें राष्ट्रपति | (25 जुलाई, 2002 – 25 जुलाई, 2007) |
नाम | अवुल पाकिर जैनुलाबदीन अब्दुल कलाम |
जन्मतिथि | 15 अक्टूबर 1931 |
जन्म स्थान | रामेश्वरम, मद्रास |
शिक्षा | St. Joseph’s College, Tiruchirappalli; Madras Institute of Technology |
पेशा | प्रोफेसर, लेखक, वैज्ञानिक |
आयु | 83 |
पिता | जैनुलाबद्दीन |
माता | आशीम्मा |
जीवनसाथी | अविवाहित रहे |
निधन | 27 जुलाई 2015 |
पुरस्कार | भारत रत्न (1997), पद्म विभूषण (1990), पद्म भूषण (1981) |
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शुरुआती जीवन (abdul kalam jivan parichay)
अब्दुल कलाम का जन्म 15 अक्टूबर 1931 (abdul kalam birthday) को पम्बन द्वीप के मशहूर तीर्थस्थल रामेश्वरम में हुआ था। कलाम के जन्म के समय रामेश्वरम ब्रिटिश सरकार के अधीन मद्रास प्रेसीडेंसी के अंतर्गत आता था, जोकि आजादी के बाद तमिलनाडू राज्य का हिस्सा बन गया।
कलाम के पिता जैनुलाबद्दीन नाव के मालिक तथा एक स्थानीय मस्जिद के इमाम थे, वहीं उनकी माता आशीम्मा गृहणी थीं। इसके अलावा कलाम के पिता के पास एक फेरी भी थी, जो दर्शन के लिए आने वाले हिन्दू तीर्थ यात्रियों को रामेश्वरम से धनुषकोडी की सुविधा मुहैया कराती थी। (abdul kalam jivan parichay)
अब्दुल कलाम का परिवार (abdul kalam family)
अब्दुल कलाम के पूर्वजों का नाम धनी व्यापारियों और बड़े जमीदारों के फिहरिस्त में मशहूर था, जिनका व्यापार मद्रास के अलावा पम्बन द्वीप तथा श्रीलंका तक फैला था।
इसी के चलते कलाम के परिवार को आम तमिल भाषा में वहां के लोग “मारा कलाम अय्यकिवर” (लकड़ी की नाव चलाने वाले) कह कर पुकारते थे।(abdul kalam cast)
हालांकि बाद में व्यापार में भारी नुकसान के चलते कलाम के पूर्वजों की विरासत अगली पीढ़ियों के काम न आ सकी। नतीजतन कलाम का बचपन बेहद गरीबी में बीता और बहुत कम उम्र में कलाम ने परिवार की आर्थिक सहायता के लिए अखबार बेचना शुरु कर दिया।
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अब्दुल कलाम की शिक्षा (abdul kalam education)
अब्दुल कलाम ने अपनी शिक्षा रामनाथपुरम स्थित शवार्ट्ज हायर सेकेंडरी स्कूल से पूरी की। अपने स्कूली दिनों में कलाम एक औसत विद्यार्थी थे। हालांकि गणित और भौतिकी में वो हमेशा से टॉपर रहे।
स्कूली शिक्षा पूरी करने के बाद कलाम ने 1954 में मद्रास विश्वविद्यालय से जुड़े तिरुचिरापल्ली स्थित सेंट जोसेफ कॉलेज से भौतिकी विषय में स्नातक की डिग्री हासिल की। (abdul kalam college)
इसके बाद 1955 में कलाम मद्रास इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी से एयरोस्पेस इंजीनियरिंग का अध्ययन करने के लिए मद्रास चले गए। हालांकि इसी दौरान कलाम से असंतुष्ट कॉलेज के डीन ने अगले तीन दिन में कलाम की छात्रवृत्ति रद्द करने का हुकुम दे दिया था। मगर इन्हीं तीन दिनों में समयसीमा समाप्त होने के पहले कलाम ने अपना प्रोजेक्ट पूरा करके डीन के सामने रख दिया और कलाम की प्रतिबद्धता और लगन से प्रभावित होकर डीन ने अपना फैसला वापस ले लिया।
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कलाम के शब्दों में-
आप अपना भविष्य नहीं बदल सकते पर
आप अपनी आदतें बदल सकते हैं,
और निश्चित रूप से आपकी आदतें
आपका भविष्य बदल देंगी
अब्दुल कलाम का सपना (abdul kalam vision)
गणित और भौतिकी में अव्वल आने वाले अब्दुल कलाम सपनों में बेहद यकीन रखते थे। कलाम कहते थे –
सपने वो नहीं हैं जो
आप नींद में देखें
सपने वो हैं जो आपको
नींद नहीं आने दें
ऐसा ही एक सपना कलाम ने भी देखा था। दरअसल कलाम बचपन से ही भारतीय वायु सेना का हिस्सा बनकर फाइटर प्लेन में उड़ान भरना चाहते थे। हालांकि फाइटर पायलट बनने का उनका यह सपना मात्र एक रैंक से अधूरा रह गया। भारतीय वायु सेना में 8वीं रैंक तक ही भर्ती हुई वहीं कलाम 9वीं रैंक पर थे।
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एयरोस्पेस वैज्ञानिक बने अब्दुल कलाम (abdul kalam career)
सपनों में यकीन करने वाले कलाम नाकामयाबी से डरने वाली शख्सियत बिल्कुल नहीं थे। कोई भी हार कलाम के लिए उनकी जीतने की प्ररणा बन जाती थी। कलाम कहते थे-(abdul kalam quotes)
मुझे पूरा यकीन है जब तक किसी ने
नाकामयाबी की कड़वी गोली न चखी हो,
वो कामयाबी के लिए पर्याप्त
महत्वाकांक्षा नहीं रख सकता।
फाइटर प्लेन में उड़ान न भर सकने वाले अब्दुल कलाम के लिए अभी जिंदगी की कई उड़ाने भरनी बाकी थी। लिहाजा कलाम ने साल 1960 में मद्रास इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी से एयरोस्पेस इंजीनियरिंग की पढ़ाई पूरी की और बतौर वैज्ञानिक रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन(DRDO) का हिस्सा बन गए।
इसी दौरान कलाम मशहूर वैज्ञानिक विक्रम साराभाई के अधीन INCOSPAR समिति का हिस्सा भी रहे।
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इसरो पहुंचे अब्दुल कलाम (abdul kalam isro)
1969 में कलाम का तबादला भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) में कर दिया गया। इस दौरान कलाम भारत के पहले सैटेलाइट लॉन्च व्हीकल (SLV-III) के प्रोजेक्ट डायरेक्टर रहे, जिसने जुलाई 1980 में रोहिणी सैटेलाइट को सफलतापूर्वक धरती की कक्षा में स्थापित किया।
नासा की सैर पर अब्दुल कलाम (abdul kalam nasa)
साल 1963 से 1964 के बीच अब्दुल कलाम अमेरिका की प्रख्यात स्पेस एजेंसी नासा (NASA) के वर्जिनिया स्थित लैम्पले रिसर्च सेंटर,ग्रीनबेल्ट, मैरीलैंड स्थित गोडार्ड स्पेस फ्लाइट सेंटरऔर वॉलॉप्स फाइटर फैसिलिटि में गए।
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सफल वैज्ञानिक के रूप में अब्दुल कलाम (abdul kalam scientist)
अब्दुल कलाम का मानना था कि-“अपने मिशन में सफल होने के लिए आपके पास एकल दिमाग वाली भक्ति होनी चाहिए।”
इसी कड़ी में 1970 से1990 के दशक के बीच, कलाम ने पोलर सैटेलाइट लॉन्च व्हीकल (PSLV) और SLV-III को एक सफल प्रोजेक्ट बनाने में अहम भूमिका निभाई।
इसी दौरान कलाम ने बैलिस्टिक मिसाइल से संबंधित प्रोजेक्ट डेविल और प्रोजेक्ट वालियांट में भी निदेशक की भूमिका निभायी।
इसके अलावा अब्दुल कलाम ने अग्नि और पृथ्वी सहित कई आधुनिक बैलिस्टिक मिसाइलों के विकास में भी महत्वपूर्ण योगदान दिया।
मिसाइल मैन अब्दुल कलाम (abdul kalam missile man)
साल 1992 से 1999 तक अब्दुल कलाम ने जहां प्रधानमंत्री के मुख्य वैज्ञानिक सलाहकार की भूमिका निभाई, वहीं DRDO के सचिव पद पर भी तैनात रहे।
11 मई 1998 को राजस्थान के पोखरण में परमाणु परीक्षण के साथ देश ने इतिहास रचा और इसी के साथ भारत का नाम परमाणु सम्पन्न देशों की फेहरिस्त में जुड़ गया।
वहीं पोखरण परमाणु परीक्षण में कलाम ने मुख्य किरदार निभाया था, जिसके चलते कलाम का नाम देश में मिसाइल मैन(nuclear scientist abdulkalam)की उपाधि से प्रख्यात हो गया।
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भारत के 11वें राष्ट्रपति बने अब्दुल कलाम Abdul kalam president)
90 के दशक के आखिर तक विज्ञान के क्षेत्र में शानदार उड़ान भरने वाले अब्दुल कलाम अब एक आम वैज्ञानिक से देश की जानी-मानी हस्ती बन चुके थे। इसी कड़ी में कलाम ने विज्ञान के क्षेत्र से राजनीति की पिच पर उतरने का फैसला किया।
दरअसल यह वो दौर था, जब दिल्ली में भारतीय जनता पार्टी की सरकार थी और अटल बिहारी वाजपेयी प्रधानमंत्री थे। इसी बीच 2002 में राष्ट्रपति चुनावों का आगाज हुआ और बीजेपी के नेतृत्व वाली NDA ने राष्ट्रपति उम्मीदवार के लिए अब्दुल कलाम का नाम चुना।
हालांकि शुरुआत में कलाम ने राजनीति से रूबरू होने में एतराज जताया लेकिन बाद में प्रधानमंत्री वाजपेयी के कहने पर कलाम राष्ट्रपति रेस में उतरने के लिए राजी हो गए।
जिंदगी की सभी चुनौतियों पर हंस कर फतह हासिल करने वाले कलाम ने एक बार फिर जीत का परचम लहराया और उन्होंने कांग्रेस के नेतृत्व वाली UPA की राष्ट्रपति अम्मीदवार लक्ष्मी सहगल 1,07,366 मतों पर समेटते हुए 9,22,884 वोट हासिल किए।
इसी के साथ अब्दुल कलाम ने 11वें राष्ट्रपति के रूप में 25 जुलाई 2002 से 25 जुलाई 2007 तक देश की कमान संभाली।
कलाम कहते थे– (abdul kalam thoughts)
जिस दिन आपके सिग्नेचर ऑटोग्राफ में बदल जाए
उस दिन मान लीजिए आप कामयाब हो गए।
अब्दुल कलाम का निधन (abdul kalam death)
राष्ट्रपति भवन छोड़ने के बाद अब्दुल कलाम IIT, बनारस हिंदू विश्वविद्यालय, अन्ना विश्वविद्यालय सहित कई संस्थानों में अस्थाई प्रोफेसर के रूप में कार्यरत रहे। कलाम का मानना था कि-
देश का सबसे अच्छा दिमाग,
क्लास रूम की आखिरी बेंच पर मिलत सकता है।
27 जुलाई 2015 के दिन(abdul kalam death date) कलाम शिलांग स्थित एक संस्थान में छात्रों को संबोधित (abdul kalam speech) करने के लिए पहुंचे। इसी दौरान मंच पर भाषण देते समय कलाम अचानक जमीन पर गिर गए। महज कुछ देर पहले मंच पर मजाक करते कलाम की अचानक बिगड़ी तबीयत ने वहां मौजूद सभी लोगों को हैरान कर दिया। किसी की कुछ समझ में आता कि इससे पहले ही सदा मुस्कुरा कर सभी का हौंसला बढ़ाने वाली आवाज हमेशा के लिए शांत हो गई। शिलांग में (abdul kalam death place)शाम 7:45 बजे दिल का दौरा(abdul kalam death reason) पड़ने के कारण कलाम ने इस दुनिया को अलविदा कह दिया।
83 वर्षीय कलाम (abdul kalam age)के निधन के बाद कलाम के पार्थिव शरीर को भारतीय वायु सेना के विमान से पहले राजधानी दिल्ली और फिर 29 जुलाई को उनके जन्म स्थान मदुरै ले जाया गया। कलाम के अचानक निधन से पूरे देश में शोक की लहर दौड़ गई थी। यही कारण था कि मदुरै में कलाम की अतिंम यात्रा में साढ़े तीन लाख से ज्यादा लोग शामिल हुए। इसी के साथ 30 जुलाई 2015 की सुबह रामेश्वरम में कलाम का पार्थिव शरीर पंचतत्व में विलीन हो गया।
अब्दुल कलाम का निजी जीवन (abdul kalam life history)
पांच भाई-बहनों में सबसे छोटे कलाम अपने सादे जीवन और उच्च विचारों के लिए जाने जाते हैं। जीवन में सफलता के कई ऊंचे मुकामों पर पहुंचने के बावजूद उन्होंने कभी अपनी सादगी से मुंह नहीं मोड़ा।
कलाम जहां रात को 2 बजे सोते थे, वहीं सुबह 6:30 बजे उठ जाते थे। कलाम संसाधनों के सीमित इस्तेमाल में यकीन रखते थे। शायद यही कारण था कि कलाम के घर में टीवी भी नहीं था। उनकी रोजमर्रा की जरूरतों में महज कुछ चीजें मसलन किताबें, वीणा, सीडी प्लेयर और एक लेपटॉप शामिल था।
अब्दुल कलाम के खिताब (abdul kalam awards)
Year of Award | Name of Award | Awarding organisation |
1981 | Padma Bhushan | Government of India |
1990 | Padma Vibhushan | Government of India |
1994 | Distinguished Fellow | Institute of Directors (India) |
1995 | Honorary Fellow | National Academy of Medical Science |
1997 | Indira Gandhi Award for National Integration | Indian National Congress |
1997 | Bharat Ratna | President of India |
1998 | Veer Savarkar Award | Government of India |
2000 | Ramanujan Award | AlwarsResarch Centre, Chennai |
2007 | Honorary Doctorate of Science and Technology | Carnegie Mellon University |
2007 | King Charles II Medal | Royal Society, UK |
2007 | Honorary Doctorate of Science | University of Wolverhampton, UK |
2008 | Doctor of Science | Aligarh Muslim University, Aligarh |
2008 | Doctor of Engineering | Nanyang Technology University, Singapore |
2009 | Hoover Medal | ASME Foundation, USA |
2009 | International Von Karman Wings Award | California University of Technology, USA |
2009 | Honorary Doctorate | Oakland University |
2010 | Doctor of Engineering | University of Waterloo |
2011 | IEEE Honorary Membership | IEEE |
2012 | Doctor of Laws | Simon Fraser University |
2013 | Von Braun Award | National Space Society |
2014 | Honorary Professor | Beijing University, China |
2014 | Doctor of Science | Edinburgh University, UK |
Reference-
8 February 2021, Abdul Kalam Biography in Hindi, wikipedia